Tuesday, May 5, 2009

किशनगंज में कानून का राज है जंगल का राज नहीं

जहां कानून का राज है, वहां कानून के हाथ लम्बे होते हैं उससे कोई बच नहीं सकता। प्रशासन कानूनी राज का संरक्षक है, हम इसे जंगल राज में तब्दील नहीं होते देख सकते। यह प्रतिक्रिया व्यक्त की है किशनगंज के जिलाधिकारी फेराक अहमद ने। श्री अहमद पत्रकारों द्वारा बहादुरगंज के विधायक तौसीफ आलम द्वारा अपनी गिरफ्तारी पर व्यक्त प्रतिक्रिया पर प्रतिक्रिया व्यक्त कर रहे थे।

तौसीफ आलम ने अपनी गिरफ्तारी को एक पक्षीय कार्रवाई बताया था। जिलाधिकारी ने बताया कि किसी को यह हक नहीं है कि वह कानून को अपने हाथ में लें तथा पुलिस को ही बंधक बना लें उसके साथ अभद्र व्यवहार करें। किसी को कानून के रक्षक पुलिस पर हाथ उठाने तथा उसे बंधक बनाने की छूट नहीं देती

जंगल राज नहीं है कानून का राज है, जो जंगल का रास्ता चलेगा, उसे सही रास्ता पर लाना कानून का दायित्व है और यह निर्णय न्यायालय करेगा कि विधायक तौसीफ की गिरफ्तारी एक पक्षीय है अथवा द्विपक्षीय। उन्होंने बताया कि कोई भी व्यक्ति या नेता यदि कानून को अपने हाथ में लेगा और उसके संबंध में यदि एसपी ने सीसीए के तहत कार्रवाई की अनुशंसा की तो उसके खिलाफ सीसीए लगेगा।

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